शब्द विचार ( Etymology) किसे कहते हैं? | B.Ed exam Etrance exam

शब्द विचार ( Etymology) किसे कहते हैं?

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वर्ण : 

किसी भी व्यक्ति को अपने विचार प्रकट करने के लिए एक भाषा की आवश्यकता होती है और विचारों को बोलकर अथवा लिखित रूप में प्रकट किया जा सकता है। भाषा को लिखने अथवा बोलने के लिए कुछ संकेतों की आवश्यकता पड़ती है और इन्हीं संकेतों को हम वर्ण कहते हैं। किसी भी भाषा के वर्णों की अपनी एक ध्वनि होती है।

जैसे - अ,आ,इ,ई,उ,ऊ,ऋ,ए,ऐ,ओ,और,अं,अः इत्यादि।

वर्णमाला -

जब बड़ों को एक समूह में लिखाया बोला जाता है तो वर्णों का वह समूह वर्णमाला कहलाता है।

जैसे - अ,आ,इ,ई.................क्ष,त्र,ज्ञ तक।

वर्ण और वर्णमाला को विस्तार में जाने के लिया यहाँ क्लिक करें

शब्द -

एक या एक से अधिक वर्ण मिलकर शब्दों का निर्माण करते हैं। 

अ+म+र = अमर।

आ + म = आम।

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सार्थक शब्द -

जब वर्णों के मिलने से बने शब्द का कोई अर्थ निकलता है तो हम उसे सार्थक शब्द हैं।

जैसे - अनिल = वायु ,उपकार = भलाई, सुमन = फूल।

निरर्थक शब्द -

जब वर्णों के मिलने से बने शब्द का कोई अर्थ नहीं निकलता है तो वह शब्द निरर्थक शब्द कहलाते हैं।

जैसे - नमसु, पउकार, वाय, उरम इत्यादि।

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शब्दांश -

कुछ वर्ण अथवा वर्णों का समूह ऐसा भी होता है जिनका स्वयं का कोई वजूद नहीं होता किंतु किसी अन्य शब्द के साथ मिलकर सार्थक शब्द अथवा किसी वाक्य में प्रयुक्त होकर वाक्य को सार्थकता प्रदान करते हैं। शब्दांश कहलाते हैं।

जैसे - प्र + गति = प्रगति 

(इसमें प्र शब्दांश है)


हिंदी भाषा में कई प्रकार के शब्दांशों का प्रयोग किया जाता है जैसे - उपसर्ग, प्रत्यय और परसर्ग।

उपसर्ग - अ, प्र, सु, कु, वि, नि, अप, उप इत्यादि।

प्रत्यय - ता, पन, त्व इत्यादि।

परसर्ग- में, का, की, के, को, के लिए, से, ने, पर इत्यादि।

शब्दों के प्रकार :

शब्दों के निम्नलिखित प्रकार होते हैं।

  1. सामान्य आधार पर

  2. व्याकरण के आधार पर

  3. स्रोत अथवा उत्पत्ति के आधार पर

  4. रचना के आधार पर

  5. अर्थ के आधार पर


1. सामान्य आधार पर शब्द के प्रकार

सामान्य की आधार पर शब्द दो प्रकार के होते हैं

  1. सार्थक शब्द और

  2. निरर्थक शब्द ।

1. सार्थक शब्द - ऐसे शब्द जिनका कोई अर्थ होता है सार्थक शब्द कहलाते हैं।

जैसे - पुस्तक, वाहन, गृह, विज्ञान, स्वास्थ्य, विभाग, अनिल, कृष्ण इत्यादि।


2. निरर्थक शब्द -
ऐसे शब्द जिनका कोई अर्थ नहीं होता है निरर्थक शब्द कहलाते हैं।

जैसे : प्यार -व्यार में व्यार निरर्थक शब्द है।

चाय - साय में साय निरर्थक शब्द है।


2. व्याकरण के आधार पर शब्द के प्रकार

व्याकरण के आधार पर शब्द दो प्रकार के होते हैं।
  1. विकारी शब्द

  2. अविकारी शब्द

1. विकारी शब्द - ऐसे शब्द जिनमें लिंग, वचन, कारक अथवा काल आदि के कारण बदल जाते हैं, विकारी शब्द कहलाते हैं

जैसे- संज्ञा, सर्वनाम, विशेषण और क्रिया, यह चार विकारी शब्द होते हैं क्योंकि इन शब्दों में लिंग, वचन, कारक अथवा काल के कारण परिवर्तन अथवा विकार आ जाता है।

विकारी शब्द - संज्ञा : लड़का, लड़के, बच्चा, बच्चे इत्यादि।

विकारी शब्द - सर्वनाम : मैं, मुझे, मुझको, वह, उसे, उसको इत्यादि।

विकारी शब्द - विशेषण : नीला, नीली, नीले इत्यादि।

विकारी शब्द - क्रिया: चल, चलो, चलाना, चलेगा इत्यादि।



2. अविकारी शब्द - ऐसे शब्द जिनमें लिंग, वचन, कारक अथवा काल आदि के कारण शब्दों के रूप में कोई बदलाब या विकार नहीं आता है, तो वे शब्द अविकारी शब्द कहलाते हैं।

जैसे - क्रिया विशेषण, समुच्चयबोधक, संबंधबोधक विस्मयादिबोधक। यह चारों अविकारी शब्द के प्रकार हैं।

अविकारी शब्द - क्रिया विशेषण : अचानक, तेज, बाहर, प्रतिदिन, बहुत इत्यादि।

अविकारी शब्द - समुच्चयबोधक : और, तथा, लेकिन, किंतु, या, इसलिए इत्यादि।

अविकारी शब्द - संबंधबोधक : के साथ, के भीतर, की तरफ, के बिना इत्यादि।

अविकारी शब्द - विस्मयादिबोधक: हे!, अरे!, ओहो!, छिः!, वाह! इत्यादि।


3. उत्पत्ति के आधार पर शब्द के प्रकार

उत्पत्ति के आधार पर शब्द चार प्रकार के होते हैं।
  1. तत्सम शब्द

  2. तद्भव शब्द

  3. देशज शब्द

  4. विदेशज शब्द

1. तत्सम शब्द - हिंदी भाषा के ऐसे शब्द जिनको संस्कृत भाषा से बिना छेड़छाड़ किये, उनके मूल रूप में ही अपना लिया गया है, तत्सम शब्द कहलाते हैं।

या अन्य शब्दों में सकते हैं कि संस्कृत भाषा के ऐसे शब्द जिनको ज्यों का त्यों हिंदी भाषा में प्रयोग किया जाता है तत्सम शब्द कहलाते हैं।

जैसे - गृह, ग्राम, छिद्र, निद्रा, पक्षी, अग्नि, पृष्ट, सत्य आदि।


2. तद्भव शब्द - हिंदी भाषा में प्रयोग किए जाने वाले ऐसे शब्द जोकि संस्कृत शब्दों का बदला हुआ रूप होते हैं तद्भव शब्द कहलाते हैं।

जैसे - आँसू, आम, कान, काज, दूध, नाच, पंछी, मोर, आंख इत्यादि।


3. देशज शब्द - हिंदी भाषा में प्रयोग किए जाने वाले ऐसे शब्द जोकि देश के भिन्न-भिन्न क्षेत्रों में बोले जाने वाली बोलियों के प्रभाव से हिंदी भाषा में शामिल किए गए हैं देशज शब्द कहलाते हैं।

जैसे - पैसा, पेट, टांग, डिबिया इत्यादि।


4. विदेशज शब्द - हिंदी भाषा में प्रयोग किए जाने वाले ऐसे शब्द जोकि विदेशी भाषाओं से हिंदी भाषा में शामिल किए गए हैं विदेशज शब्द कहलाते हैं।

जैसे - मालिक, दौलत, शिकायत, तबियत, कमीज, तमाशा, नीलाम, पुलिस आदि।

4. रचना के आधार पर शब्द के प्रकार

रचना के आधार पर शब्द तीन प्रकार के होते हैं।
  1. रूढ़ी शब्द

  2. योगरूढ़ी शब्द

  3. यौगिक शब्द


1. रूढ़ी शब्द - ऐसे शब्द जिनका खंड सार्थक नहीं होता है और जो केवल किसी एक विषय वस्तु के लिए प्रयोग किए जाते हैं रूढ़ी शब्द कहलाते हैं।

जैसे- कान, नाक, नल आदि

कान = का + न, इसमें कान शब्द का खंड करने पर का का कोई अर्थ नहीं मिलता और न ही 'न' का।


2. योगरूढ़ी शब्द - ऐसे शब्द जो दो शब्दों के मेल से बनते हैं किंतु मिलने के पश्चात बना शब्द कोई विशेष अर्थ प्रदान करता है तो ऐसे शब्दों को योगरूढ़ी शब्द कहते हैं।

जैसे - गजानन= गणेश

दशान्न= रावण।


3. यौगिक शब्द - ऐसे शब्द जो दो या दो से अधिक शब्दों के मेल अथवा शब्दांशो के योग से बने होते हैं तथा जिनका खंड सार्थक होता है वह यौगक शब्द कहलाते हैं।

जैसे - पाठशाला= पाठ + शाला

गृहविज्ञान = गृह + विज्ञान।

5. अर्थ के आधार पर शब्द के प्रकार

अर्थ के आधार पर शब्द चार प्रकार के होते हैं।
  1. एकार्थी शब्द

  2. अनेकार्थी शब्द

  3. समानार्थी शब्द (पर्यायवाची शब्द)

  4. विपरितार्थक शब्द (विलोम शब्द)


1. एकार्थी शब्द - ऐसे शब्द जिनका प्रयोग केवल एक ही अर्थ में होता है एकार्थी शब्द कहलाते हैं।

जैसे - छात्र= विद्यार्थी, आपदा = मुसीबत आदि। इन शब्दों का हमेशा केवल एक ही अर्थ होगा।



2. अनेकार्थी शब्द - ऐसे शब्द जिनके दो या दो से अधिक अर्थ होते हैं अनेकार्थी शब्द कहलाते हैं।

जैसे - अनंत= अंतहीन,आकाश,अविनाशी।

अर्थ = प्रयोजन, धन।

पत्र = पत्ता, चिट्ठी।



3. समानार्थी शब्द (पर्यायवाची शब्द) - ऐसे शब्द जिन का अर्थ समान होता है समानार्थी शब्द कहलाते हैं इन्हें हम पर्यायवाची शब्दों के नाम से भी जानते हैं।

जैसे - गंगा = भगिरथीय, मंदाकिनी, देवनदी, जाह्नवी, सुरसरि।

कमल = पंकज, जलज, अरविंद, नीरज, अंबुज, सरोज, वारिज।

ईश्वर = भगवान, प्रभु, परमात्मा, परमेश्वर, जगदीश।



4. विपरितार्थक शब्द (विलोम शब्द) - ऐसे शब्द जिनका अर्थ विपरीत होता है अथवा उल्टे अर्थ वाले शब्द, विपरीतार्थक शब्द कहलाते हैं इन्हें हम विलोम शब्द भी कहते हैं।

जैसे -

दिन - रात
गरीब - अमीर
मौखिक - लिखित
सार्थक - निरर्थक
प्रश्न - उत्तर

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